
सुहानी की आंखों के सामने वो वक्त घूम रहा था जब अद्वय ने उसके लिए अपने सीने पर गोली खाई थी! वो कैसे ही उस वक्त को भूल सकती थी? क्योंकि बेशक से उन दोनों के रिलेशनशिप में जो कुछ मर्जी हुआ लेकिन आज तक ऐसा कभी नहीं हुआ था कि अद्वय अपनी जान पर खेल कर उसकी जान बचाए और ये वक्त वो अपनी पूरी जिंदगी नहीं भूलने वाली थी, अब फिलहाल उसकी आंखों के सामने वही पल घूम रहे थे!
तकरीबन 24 घंटे पहले!

Write a comment ...